हट गया पाकिस्तान का दबाव, चाबहार पोर्ट मिला भारत को, खुशी से झूम उठा तालिबान

हट गया पाकिस्तान का दबाव, चाबहार पोर्ट मिला भारत को, खुशी से झूम उठा तालिबान

हट गया पाकिस्तान का दबाव, चाबहार पोर्ट मिला भारत को, खुशी से झूम उठा तालिबान

ईरान का भारत को दिया ऐतिहासिक तोहफा

पश्चिम एशिया, मध्य एशिया और हिंद महासागर की भू-राजनीति को बदलकर रख देने वाला एक बड़ा घटनाक्रम सामने आया है। ईरान ने भारत को 13 मई 2024 को चाबहार बंदरगाह 10 सालों के लिए सौंपने का ऐतिहासिक फैसला किया है। इस फैसले का सबसे ज्यादा स्वागत अफगानिस्तान की तालिबान सरकार ने किया है। तालिबान का कहना है कि इससे अफगानिस्तान और मध्य एशिया के देशों को व्यापार करने में सहूलियत होगी।

पाकिस्तान के कराची बंदरगाह से आजादी

अब तक अफगानिस्तान को अपने आयात-निर्यात के लिए पाकिस्तान के कराची बंदरगाह पर निर्भर रहना पड़ता था। पाकिस्तान अफगानिस्तान से ऊंचे दाम वसूलता था और उसे ब्लैकमेल भी करता था। पाकिस्तान ने यहां तक धमकी दी थी कि अगर अफगानिस्तान कराची बंदरगाह का इस्तेमाल नहीं करेगा तो उसे रास्ता रोक दिया जाएगा।

चाबहार पोर्ट से व्यापार में क्रांति लाने की तैयारी

तालिबान ने चाबहार पोर्ट मिलने का जश्न मनाया है। तालिबान का कहना है कि वह चाबहार पोर्ट के और अधिक विस्तार की मांग करेगा। इससे अफगानिस्तान, ईरान, भारत और मध्य एशिया के देशों को व्यापार और विकास में बढ़ावा मिलेगा।

पाकिस्तान को लगा तगड़ा झटका

पाकिस्तान, जो अफगानिस्तान को व्यापार के लिए कराची बंदरगाह इस्तेमाल करने के लिए मजबूर करता था, उसे अब बड़ा झटका लगा है। चाबहार पोर्ट मिलने से अफगानिस्तान अब पाकिस्तान पर निर्भर नहीं रहेगा।

पाकिस्तान के काले कारनामों का खुलासा

तालिबान ने पाकिस्तान पर कई गंभीर आरोप लगाए हैं। तालिबान का कहना है कि पाकिस्तान उससे ज्यादा पैसे वसूलता था, उसे ब्लैकमेल करता था और उसे रास्ता रोकने की धमकी भी देता था। तालिबान ने यह भी आरोप लगाया है कि पाकिस्तान उसके ट्रकों से गुजरने वाले गेहूं की चोरी भी करता था।

वेस्ट एशिया, सेंट्रल एशिया और हिंद महासागर की बदलती जियोपॉलिटिक्स

चाबहार पोर्ट भारत के लिए एक बड़ी कूटनीतिक जीत है। यह पोर्ट भारत को वेस्ट एशिया, सेंट्रल एशिया और हिंद महासागर में अपनी पकड़ मजबूत करने में मदद करेगा। इससे भारत मध्य एशिया के साथ व्यापार को बढ़ावा दे सकता है और साथ ही साथ ईरान के साथ रणनीतिक संबंध मजबूत कर सकता है।

भारत के लिए रणनीतिक फायदे

चाबहार पोर्ट भारत को अफगानिस्तान और मध्य एशिया के बाजारों तक सीधी पहुंच प्रदान करेगा। इससे भारत को ऊर्जा संसाधनों तक भी आसानी से पहुंच मिल सकेगी। चाबहार पोर्ट भारत के लिये एक महत्वपूर्ण ट्रांजिट हब के रूप में भी काम करेगा। इससे भारत अफगानिस्तान और मध्य एशिया के देशों को सामान निर्यात करने में सक्षम होगा।

अफगानिस्तान और मध्य एशिया के देशों को फायदा

चाबहार पोर्ट अफगानिस्तान और मध्य एशिया के देशों के लिए भी फायदेमंद साबित होगा। ये देश चाबहार पोर्ट के जरिए भारत और अन्य देशों के साथ व्यापार

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top