Gyanpeeth Puraskar Winner List: 58वां ज्ञानपीठ पुरस्कार 2024
Introduction: Jnanpith Award
भारत के सबसे प्रतिष्ठित साहित्यिक पुरस्कार, ज्ञानपीठ पुरस्कार 2024 की घोषणा हो चुकी है। 2024 में 58वां ज्ञानपीठ पुरस्कार 2023 के लिए प्रदान किया गया है। यह टॉपिक एग्जाम की तैयारी कर रहे विद्यार्थियों के लिए बेहद महत्वपूर्ण और ट्रेंडिंग है। इस लेख में हम ज्ञानपीठ पुरस्कार के बारे में सभी महत्वपूर्ण जानकारी और परीक्षा में पूछे जाने वाले संभावित प्रश्नों को शामिल करेंगे।
ज्ञानपीठ पुरस्कार भारतीय साहित्य के लिए दिया जाने वाला सर्वोच्च पुरस्कार है। यह पुरस्कार भारतीय नागरिकों को 22 भाषाओं में से किसी भी भाषा में उत्कृष्ट साहित्यिक योगदान के लिए प्रदान किया जाता है। इसमें 11 लाख रुपये, प्रशस्तिपत्र और वाग्देवी की कांस्य प्रतिमा दी जाती है। यह सांस्कृतिक संगठन भारतीय ज्ञानपीठ द्वारा प्रायोजित है और इसकी स्थापना 1961 में हुई थी।
Gyanpeeth Puraskar: Important Facts
- स्थापना: 1961 में हुई थी 1965
- इसने देश के सर्वोच्च साहित्यिक पुरस्कार की मान्यता हासिल की है।
- भाषा: 8 वीं अनुसूची में बताई गई 22 भाषाओं में से किसी भाषा में लिखता हो।
- राशि: पुरस्कार में 11 लाख रुपये , प्रशस्तिपत्र और वाग्देवी की कांस्य प्रतिमा दी जाती है।
- वर्ष 1984 ई. के बाद यह पुरस्कार लेखक के समग्र योगदान पर दिया जाने लगा है।
- यह सांस्कृतिक संगठन भारतीय ज्ञानपीठ द्वारा प्रायोजित है।
- पुरस्कार के लिए अन्य भारतीय भाषाओं के साथ अंग्रेजी पर विचार किया जाता है।
- यह पुरस्कार केवल भारतीय नागरिकों के लिए खुला है और वार्षिक रूप से दिया जाता है।
- मरणोपरांत सम्मेलन अधिकृत नहीं हैं।
- चयन बोर्ड की वर्तमान अध्यक्ष: श्रीमती प्रतिभा रे
Gyanpeeth Puraskar: Imp. Points
- प्रथम ज्ञानपीठ पुरस्कार 1965 में मलयालम लेखक जी शंकर कुरुप को 1965 (उनके कविता संग्रह, ओडक्कुझल (द बैम्बू फ्लूट) के लिए।) प्रदान किया गया था। उस समय पुरस्कार की धनराशि १ लाख रुपए थी।
- 1962 तक यह पुरस्कार लेखक की एकल कृति के लिये दिया जाता था। लेकिन इसके बाद से यह लेखक के भारतीय साहित्य में संपूर्ण योगदान के लिये दिया जाने लगा।
- अब तक हिन्दी तथा कन्नड़ भाषा के लेखक सबसे अधिक सात बार यह पुरस्कार पा चुके हैं।
- यह पुरस्कार बांग्ला को 4 बार।
- मलयालम को 4 बार,
- उड़िया, उर्दू और गुजराती को तीन-तीन बार,
- असमिया, मराठी, तेलुगू, पंजाबी और तमिल को दो-दो बार मिल चुका है।
- पहली महिला – बंगाली उपन्यासकार आशापूर्णा देवी – 1976 (उपन्यास प्रोथोम प्रोतिश्रुति (द फर्स्ट प्रॉमिस) के लिए, त्रयी में पहली।)
Gyanpeeth Puraskar List 2024
पुरस्कार | ज्ञानपीठ पुरस्कार |
किसके प्रदान किया जाता है | भारतीय ज्ञानपीठ साहित्य एवं अनुसंधान संगठन |
वर्ग | भारत का साहित्यिक पुरस्कार |
स्थापना | 1965 |
राशि | ₹11 लाख रु |
प्रथम विजेता | जी. शंकर कुरुप – मलयालम (1965) |
प्रथम महिला विजेता | आशापूर्णा देवी – बंगाली (1976) |
पिछले विजेताओं की सूची |
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58th Jnanpith Award 2024: Winner List
1. गुलजार
- प्रमुख उपलब्धियाँ:
- 2002 में उर्दू के लिए साहित्य अकादमी पुरस्कार
- 2013 में दादा साहेब फाल्के पुरस्कार
- 2004 में पद्म भूषण
- पाँच राष्ट्रीय फ़िल्म पुरस्कार
- फिल्म “स्लमडॉग मिलियनेयर” का गीत “जय हो” (2009 में ऑस्कर और 2010 में ग्रैमी पुरस्कार)
- गुलजार ने कई समीक्षकों द्वारा प्रशंसित फिल्मों के लिए धुनें तैयार की हैं जैसे “माचिस” (1996), “ओमकारा” (2006), “दिल से…” (1998), और “गुरु” (2007)।
2. जगद्गुरु रामभद्राचार्य
- प्रमुख उपलब्धियाँ:
- चित्रकूट में तुलसी पीठ के संस्थापक एवं प्रमुख
- 100 से अधिक पुस्तकों के लेखक
- 2015 में पद्म विभूषण पुरस्कार
Gyanpeeth Puraskar Winner List
No. | Years | साहित्यकार | भाषा |
---|---|---|---|
1. | 1965 | जी शंकर कुरुप | मलयालम |
2. | 1966 | ताराशंकर बंदोपाध्याय | बंगाली |
3. | 1967 | कुप्पाली वेंकटप्पागौड़ा पुट्टप्पा | कन्नडा |
4. | 1967 | उमाशंकर जोशी | गुजराती |
5. | 1968 | सुमित्रा नंदन पंत | हिंदी |
6. | 1969 | फ़िराक़ गोरखपुरी | उर्दू |
7. | 1970 | विश्वनाथ सत्यनारायण | तेलुगू |
8. | 1971 | बिष्णु डे | बंगाली |
9. | 1972 | रामधारी सिंह दिनकर | हिंदी |
10. | 1973 | दत्तात्रेय रामचन्द्र बेंद्रे | कन्नडा |
11. | 1973 | गोपीनाथ मोहंती | ओरिया |
12. | 1974 | विष्णु सखाराम खांडेकर | मराठी |
13. | 1975 | पी. वी. अकिलन | तामिल |
14. | 1976 | आशापूर्णा देवी | बंगाली |
15. | 1977 | के. शिवराम कारंत | कन्नडा |
16. | 1978 | सच्चिदानंद हीरानंद वात्स्यायन 'अज्ञेय' | हिंदी |
17. | 1979 | बीरेंद्र कुमार भट्टाचार्य | असमिया |
18. | 1980 | एस. के. पोट्टेक्कट | मलयालम |
19. | 1981 | अमृता प्रीतम | पंजाबी |
20. | 1982 | महादेवी वर्मा | हिंदी |
21. | 1983 | मस्ती वेंकटेश अयंगर | कन्नडा |
22. | 1984 | थकाज़ी शिवशंकर पिल्लई | मलयालम |
23. | 1985 | पन्नालाल पटेल | गुजराती |
24. | 1986 | सच्चिदानंद राउतराय | ओरिया |
25. | 1987 | विष्णु वामन शिरवाडकर | मराठी |
26. | 1988 | डॉ. सी. नारायण रेड्डी | तेलुगू |
27. | 1989 | कुर्रतुलैन हैदर | उर्दू |
28. | 1990 | विनायक कृष्ण गोकक | कन्नडा |
29. | 1991 | सुभाष मुखोपाध्याय | बंगाली |
30. | 1992 | नरेश मेहता | हिंदी |
31. | 1993 | सीताकांत महापात्र | ओरिया |
32. | 1994 | यू आर अनंतमूर्ति | कन्नडा |
33. | 1995 | डॉ. एम. टी. वासुदेवन नायर | मलयालम |
34. | 1996 | महाश्वेता देवी | बंगाली |
35. | 1997 | अली सरदार जाफ़री | उर्दू |
36. | 1998 | गिरीश कर्नाड | कन्नडा |
37. | 1999 | गुरदयाल सिंह | पंजाबी |
38. | 1999 | निर्मल वर्मा | हिंदी |
39. | 2000 | इंदिरा गोस्वामी | असमिया |
40. | 2001 | राजेंद्र केशवलाल शाह | गुजराती |
41. | 2002 | डी. जयकांतन | तामिल |
42. | 2003 | विंदा करंदीकर | मराठी |
43. | 2004 | रहमान राही | कश्मीरी |
44. | 2005 | कुँवर नारायण | हिंदी |
45. | 2006 | रवीन्द्र केलेकर | कोंकणी |
46. | 2006 | सत्य व्रत शास्त्री | संस्कृत |
47. | 2007 | डॉ. ओ. एन. वी. कुरुप | मलयालम |
48. | 2008 | अखलाक मोहम्मद खान | उर्दू |
49. | 2009 | अमर कांत | हिंदी |
50. | 2009 | श्रीलाल शुक्ल | हिंदी |
51. | 2010 | चन्द्रशेखर कंबारा | कन्नडा |
53. | 2011 | प्रतिभा रे | ओरिया |
54.. | 2012 | रावौरी भारद्वाज | तेलुगू |
55. | 2013 | केदारनाथ सिंह | हिंदी |
56. | 2014 | भालचंद्र नेमाड़े | मराठी |
57. | 2015 | डॉ. रघुवीर चौधरी | गुजराती |
58. | 2016 | शंका घोष | बंगाली |
59. | 2017 | कृष्णा सोबती | हिंदी |
60. | 2018, 54वाँ | अमिताव घोष | अंग्रेज़ी |
61. | 2019, 55वाँ | अक्कितम अच्युतन नंबूथिरी | मलयालम |
62. | 2020, | Nothing | Provide |
63. | 2021, 56वाँ | नीलमणि फूकन | असमिया |
64. | 2022, 57वाँ | दामोदर मौजो | कोंकणी |
65. | 2023, 58वाँ | जगद्गुरु रामभद्राचार्य, गुलज़ार |
ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित हिन्दी भाषा के साहित्यकार
हिन्दी साहित्य में ज्ञानपीठ पुरस्कार एक प्रतिष्ठित सम्मान है, जिसे भारतीय साहित्यकारों को उनके अद्वितीय योगदान के लिए प्रदान किया जाता है। इस लेख में हम उन हिन्दी साहित्यकारों के बारे में जानेंगे, जिन्हें इस सम्मान से नवाजा गया है।
हिन्दी साहित्यकार | रचना | वर्ष |
---|---|---|
सुमित्रानंदन पंत | चिदंबरा | 1968 ई., 4th |
दिनकर | उर्वशी | 1972 ई., 8th |
अज्ञेय | कितनी नावों में कितनी बार | 1978 ई., 14वीं |
महादेवी वर्मा | यामा | 1982 ई., 18वीं |
नरेश मेहता | सम्पूर्ण साहित्य | 1992 ई., 28वीं |
निर्मल वर्मा (गुरदयाल सिंह के साथ) | सम्पूर्ण साहित्य | 1999 ई., 35वीं |
कुँवर नारायण | सम्पूर्ण साहित्य | 2005 ई., 41वीं |
अमरकांत एवं श्रीलाल शुक्ल | सम्पूर्ण साहित्य | 2009 ई., 45वीं |
केदारनाथ सिंह | सम्पूर्ण साहित्य | 2013 ई., 49वीं |
कृष्णा सोबती | सम्पूर्ण साहित्य | 2017 ई., 53वीं |
Gyanpeeth Puraskar Important Questions
प्रश्न 1: 58वां ज्ञानपीठ पुरस्कार 2024 में किसे सम्मानित किया गया है?
उत्तर: गुलजार और जगतगुरु राम भद्राचार्य
प्रश्न 2: ज्ञानपीठ पुरस्कार किस क्षेत्र में उत्कृष्टता के लिए दिया जाता है?
उत्तर: साहित्य
प्रश्न 3: ज्ञानपीठ पुरस्कार की स्थापना किस वर्ष की गई थी?
उत्तर: 1961
प्रश्न 4: ज्ञानपीठ पुरस्कार पहली बार किस वर्ष प्रदान किए गए थे?
उत्तर: 1965
प्रश्न 5: ज्ञानपीठ पुरस्कार की वर्तमान पुरस्कार राशि कितनी है?
उत्तर: 11 लाख रुपये
प्रश्न 6: भारतीय ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित होने वाले प्रथम साहित्यकार कौन थे?
उत्तर: जी शंकर कुरूप
प्रश्न 7: भारतीय ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित होने वाली प्रथम महिला कौन थी?
उत्तर: आशा पूर्णा देवी
प्रश्न 8: भारतीय ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित होने वाले प्रथम हिंदी साहित्यकार कौन थे?
उत्तर: सुमित्रानंदन पंत
प्रश्न 9: भारतीय ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित होने वाले प्रथम अंग्रेजी साहित्यकार कौन थे?
उत्तर: अमिताभ घोष
प्रश्न 10: साहित्य में उत्कृष्ट उपलब्धि के लिए दिया जाने वाला प्रतिष्ठित ज्ञानपीठ पुरस्कार कितनी भाषाओं के लिए प्रदान किया जाता है?
उत्तर: 23 (22 अनुसूचित भाषाएं + अंग्रेजी)
निष्कर्ष
हिंदी साहित्य के सभी पुरस्कारों की सूची
- Vyas samman (व्यास सम्मान)
- Shalaka Samman (श्लाका पुरस्कार)
- Gyanpeeth Award (ज्ञानपीठ पुरस्कार)
- Saraswati samman (सरस्वती सम्मान)
- Murtidevi puraskar (मूर्तिदेवी पुरस्कार)
- Bal sahitya puraskar (बाल साहित्य पुरस्कार)
- Bharat Bharti Samman (भारत भारती सम्मान)
- Gopal Das Neeraj Smriti अवार्ड (गोपाल दास नीरज स्मृति पुरस्कार)
इस लेख में हमने ज्ञानपीठ पुरस्कार के बारे में विस्तृत जानकारी और परीक्षा की दृष्टि से महत्वपूर्ण प्रश्नों को शामिल किया है। उम्मीद है कि यह जानकारी आपकी तैयारी में सहायक होगी।